टोक्यो ओलंपिक 2020 का समापन रविवार को हो गया. भारतीय एथलीट्स ने अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते हुए एक गोल्ड सहित सर्वाधिक सात पदक अपने नाम किए. इसी बीच खबर आ रही है कि भारतीय एथलीट धनलक्ष्मी सीकर (Dhanalakshmi Sekar) की बहन की मृत्यु टूर्नामेंट के दौरान ही हो गई थी लेकिन परिवार वालों ने बड़ा दिल दिखाते हुए इसकी सूचना उन्हें दी ताकि धनलक्ष्मी का ध्यान भंग ना हो और वो अपने खेल पर ही फोकस कर सके.
टोक्यो ओलंपिक में धनलक्ष्मी (Dhanalakshmi Sekar) को आरक्षित सदसय के रूप में भेजा गया था. लक्ष्मी ने राष्ट्रीय खेल संस्थान (एनआईएस), पटियाला में 200 मीटर हीट्स में पी.टी. उषा का रिकॉर्ड और 100 मीटर में दुती चंद के खिलाफ गोल्ड भी जीता था.
100 मीटर में, उन्होंने 11.39 सेकंड के समय के साथ स्वर्ण पदक जीता था, और 200 मीटर में, उन्होंने 23.26 सेकंड के समय के साथ एक नया रिकॉर्ड बनाया, जिसने 23 साल पहले उषा के 23.30 सेकंड के रिकॉर्ड को तोड़ दिया.
धनलक्ष्मी (Dhanalakshmi Sekar) शुरुआती दिनों में खो-खो खिलाड़ी थीं और स्कूल में एक शारीरिक शिक्षा शिक्षक ने उन्हें स्प्रिंट पर स्विच करने का सुझाव दिया और उन्होंने भारतीय रेलवे एथलीट, मणिकंद अरुमुगम के मातहत प्रशिक्षण लिया है.
स्प्रिंटर ने अपने पिता शेखर को अपने जीवन में जल्द ही खो दिया था और यह उनकी मां उषा, एक किसान थीं, जिन्होंने पाला था.
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